तीन ने किया समर्पण, मुख्य आरोपित शुभम सिंघाड़ा पर 25 हजार का इनाम


          गोरखपुर : कैंट इलाके में सरेआम चार किलोमीटर तक पीछा कर मोहद्दीपुर में प्रापर्टी डीलर जीतेंद्र यादव को गोली मारे जाने के मामले में फरार मुख्य आरोपित शुभम सिंह सिंघाड़ा पर एसएसपी ने 25 हजार रुपये का इनाम घोषित किया है। इस बीच दूसरे गुट के शुभम राव और अविनाश सिंह सहित तीन ने बुधवार को कोर्ट में समर्पण कर दिया है। दोनों गुटों के मददगारों पर भी कार्रवाई करने की तैयारी चल रही है। पुलिस उनकी सूची तैयार कर रही है। दोनों गुटों पर गैंगस्टर की कार्रवाई के साथ ही शुभम सिंघाड़ा पर रासुका लगाए जाने की पुलिस ने कवायद शुरू कर दी है।
पुलिस की अभी तक की छानबीन में पता चला है कि शुभम सिंह सिंघाड़ा की गैंग को कैंट इलाके का ही रहने वाला सुनील पासवान आर्थिक मदद करता रहा है और उन्हीं के माध्यम से जमीन के कारोबार में पैसा लगाता रहा है। दूसरी तरफ शुभम राव के आर्थिक मददगार के तौर पर छात्र नेता कमलेश यादव का नाम सामने आया है। दोनों गैंग के इन दो मददगारों  अलावा भी कई नाम सामने आए हैं। जो आर्थिक मदद कर इनके माध्यम से जमीन के कारोबार में इनका इस्तेमाल करते थे। दोनों गैंग के शरणदाताओं की भी तलाश शुरू कर दी गई है। उन पर भी कार्रवाई होनी तय है। शुभम सिंह सिंघाड़ा, शुभम राव और गोली लगने से घायल जीतेंद्र यादव के आपराधिक रिकार्ड भी मिले हैं। इनके गिरोह से जुड़े दूसरे सदस्यों का भी आपराधिक रिकार्ड तलाश जा रहा है।
दोनों गैंग से संबंध रखने वाले पुलिस वाले भी निशाने पर
कूड़ाघाट और सिंघडिय़ा से लेकर मोतीरामअड्डा तक शुभम सिंघाड़ा और शुभम राव काफी दिन से आतंक का पर्याय बने हुए थे। गोलीकांड के बाद यह बात सामने आने के बाद एसएसपी जोगेंद्र सिंह सहित सभी पुलिस अधिकारियों को यह सवाल परेशान कर रहा है कि आखिर कैसे दोनों गुट इस हद तक पहुंच गया। अधिकारियों को शक है कि दोनों गुटों को स्थानीय पुलिस वालों को जरूर संरक्षण मिलता रहा होगा, जिससे उनका मनोबल इस सीमा तक बढ़ गया। एसएसपी ने इसकी जांच कर उन पुलिस वालों को चिह्नित करने का आदेश दिया है, जो दोनों गुटों को संरक्षण देते रहे हैं और उनसे जुड़े हैं।
दोनों गैंग के आय के स्रात की भी जुटाई जा रही जानकारी
दोनों गैंग से जुड़े युवकों की जीवनशैली काफी ऊंचे दर्जे की थी। इस जीवन शैली के लिए उनके पास रुपये कहां से आते थे। इसका पता लगाने के लिए पुलिस दोनों गैंग के सदस्यों के आय के स्रोत का भी पता लगा रही है। आर्थिक मददगारों से मिलने वाले धन के अलावा और किन-किन स्रोतों से उनकी कमाई होती थी।
घटना की सूचना न देने वालों पर भी होगी कार्रवाई
शुभम सिंह सिंघाड़ा और शुभम राव के बीच घटना के दिन विवाद की शुरुआत सिंघडिय़ा इलाके में स्थित एक रेस्टोरेंट से हुई थी। बाद में मामला हवाई फायरिंग और प्रापर्टी डीलर को गोली मारने तक पहुंच गया। रेस्टोरेंट संचालक ने पुलिस को इसकी सूचना नहीं दी। एसएसपी ने इस पर नाराजगी जताई है। साथ ही सभी थानेदारों को इस तरह की घटना होने पर सूचना न देने वाले दुकानदारों, ढाबा मालिकों और रेस्टोरेंट संचालकों पर कार्रवाई का निर्देश दिया है।


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