कोरोना टीकाकरण के पूर्वाभ्यास में दिखीं खामियां

 डॉ0 एस0 चंद्रा

       गोरखपुर : जिले में कोरोना वैक्सीनेशन के संबंध में मंगलवार को हुए पूर्वाभ्यास (ड्राई-रन) में महिला जिला अस्पताल में कई खामियां देखने को मिलीं। स्वास्थ्य विभाग और संबंधित अस्पताल के बीच समन्वय का अभाव दिखा। ड्राई रन में जिन स्वास्थ्य कर्मियों का नाम शामिल था वे बूथों पर तय समय से नहीं पहुंचे। इस कारण सीएमओ का नाम सूची में नहीं होने के बावजूद उन्हें ट्रॉयल का हिस्सा बनना पड़ा।

सीएमओ डॉ. सुधाकर पांडेय जिला प्रतिरक्षण अधिकारी डॉ. एनके पांडेय के साथ 9:30 बजे महिला जिला अस्पताल पहुंचे। उन्होंने 100 शैय्या बेड अस्पताल के पीछे बने केंद्र का जायजा लिया। इसके बाद 100 शैय्या बेड के चौथी मंजिल पर बने दूसरे केंद्र पर 9:40 बजे पहुंचे। यहां वेटिंग रूम में कुर्सियां खाली मिलीं। वैक्सीनेशन कक्ष की ओर बढ़े तो देखा कुर्सियां लगी हैं, लेकिन कर्मी नहीं हैं। इसके बाद कर्मियों को नीचे से बुलाया गया। स्टॉफ नर्स और एएनएम भागती हुई मौके पर पहुंची। करीब 20 मिनट तक सीएमओ कर्मियों को वैक्सीनेशन के बारे में समझाते दिखे।


केंद्र एक पर सीएमओ डॉ. सुधाकर पांडेय 10.20 मिनट पर दोबारा पहुंचे। वैक्सीनेशन कक्ष में गए तो टीका लगाने वाले स्वास्थ्य कर्मी को बुलाया गया। मौके पर स्वास्थ्य कर्मी को न देख सीएमओ खुद टीका लगवाने बैठ गए। एएनएम शोभा सिंह ने उनका नाम, मोबाइल नंबर पूछा। जानकारी रजिस्टर में दर्ज करते हुए सांकेतिक रूप से इंट्रामस्कुलर ऑटो डिस्पोजल सिरिंज लगाया। वैक्सीन लगने के बाद वह 10:25 बजे प्रतीक्षालय रूम में गए। वहां महिला एसआईसी डॉ. माला सिन्हा ने उनके स्वास्थ्य के बारे में पूछा। पूर्वाभ्यास के क्रम में सीएमओ ने बताया कि सिर में दर्द, और मिचली की समस्या है। इस पर उन्हें 30 मिनट तक आराम करने की सलाह दी गई। करीब 20 मिनट आराम करने के बाद सीएमओ डॉ. नीरज पांडेय के साथ खोराबार प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का निरीक्षण करने चले गए।

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